33 वकीलों की जज पद पर नियुक्ति की सिफारिश पर सवाल
कानून रिव्यू/इलाहाबाद
————————–इलाहाबाद हाईकोर्ट की ओर से 33 वकीलों की जज पद पर नियुक्ति का मामला गर्माया गया है। जजों की नियुक्ति को लेकर की गई सिफारिश सवालों के घेरे में है। इस सिफारिश पर पक्षपात का आरोप लगा है और इस संदर्भ में केंद्र व राज्य सरकार को कई शिकायतें की गई हैं। शिकायतों के मुताबिक 33 वकीलों में कई ऐसे भी हैं जो इलाहाबाद हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट के जजों के काफी करीब हैं। पीएम और कानून मंत्रालय की ओर से मामले को खुफिया एजेंसी के पास भेज दिया गया। साथ ही दावा किया गया कि इन 33 में से 11 वकीलों के तार सुप्रीम कोर्ट और हाईकोर्ट के जजों से जुडे हुए हैं। पक्षपात का ऐसा ही मामला साल 2016 में सामने आया था जब 30 वकीलों के नाम पर जज पद के लिए सिफारिश की गई थी। हालांकि बार एसोशिएशन के दखल के बाद तत्कालीन सीजेआई टीएस ठाकुर ने 11 वकीलों के नाम ठंडे बस्ते में पहुंचा दिए थे। गौरतलब है कि इलाहाबाद हाईकोर्ट का कोलेजियम इसी साल फरवरी में बना था। जिसमें 33 वकीलों के नाम पर कोर्ट में जज पद के लिए सिफारिश की गई थी। इस पर शिकायत में कहा गया कि एससीएसटी और ओबीसी समुदाय से जुड़े लोगों को आगे बढ़ने का मौका नहीं मिल रहा है।