कानून रिव्यू/ग्रेटर नोएडा
जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वाधान में विधिक साक्षरता का शिविर का आयोजन गलगोटिया विश्वविद्यालय में किया गया। शिविर में जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के पैनल अधिवक्ता शेखर ठकराल, प्रमोद शर्मा और गलगोटिया विश्वविद्यालय के फैकल्टीज मेंबर के साथ डा० श्रीमती गजल गुप्ता एवं छात्र एवं छात्राएं उपस्थित रहे। शिविर में मोटर वाहन अधिनियम संशोधित 2019 विषय पर चर्चा हुई। जिला विधिक सेवा प्राधिकरण की सचिव श्रीमती मिनाक्षी सिन्हा ने जिला विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा संचालित योजनाओं के संबंध में प्रकाश डालते हुए कहा कि लोक अदालतों के द्वारा पुराने से पुराने मुकदमें आपसी सहमति के आधार पर सरल प्रक्रिया के द्वारा समाप्त कराए जा सकते है। लोक अदालतों के फैसले अंतिम फैसले होते हैं, जिनकी कोई अपील नहीं होती है तथा सिविल वादों में अदा की गई कोर्ट फीस भी वापस हो जाती है। विधिक साक्षरता शिविरों के उद्देश्यो के बारे में बताया गया है कि जनसामान्य को विधिक रुप से जागरुक करने एवं उनके अधिकारों से अवगत कराने के उद्ेश्य से विधिक साक्षरता का शिविरों का मुख्यालय, ग्रामीण स्तर पर, तहसील स्तर, विद्यालय,विश्ववविद्यालय, जिला कारागार, बाल सम्प्रेक्षण गृह आदि स्थानों पर आयोजन किया जाता है। उन्होंने कहा कि विधिक सेवा प्राधिकरण द्वारा निःशुल्क विधिक सहायता उपलब्ध कराए जाने का प्रावधान है। जिसके अंतर्गत महिलाएं, बच्चे, श्रमिक, शहीद सैनिको के आश्रित, वरिष्ठ नागरिक, अनुसूचित जनजाति के सदस्य निःशुल्क विधिक सहायता पाने के हकदार है। इसके अतिरिक्त जिनकी वार्षिक आय 3 लाख से कम है वह भी निःशुल्क विधिक सहायता पाने के हकदार हैं। ऐसे पीडित व्यक्ति जिला विधिक सेवा प्राधिकरण में प्रार्थना पत्र प्रस्तुत कर विधिक सहायता प्राप्त कर सकते है।