कानून रिव्यू/गाजियाबाद
दहेज की मांग पूरी न होने पर विवाहिता की आग लगाकर हत्या करने के मामले में कोर्ट ने सास.ससुर समेत तीन को दस.दस साल कैद की सजा सुनाई है। साथ ही प्रत्येक अभियुक्त पर 14 रुपये का जुर्माना भी लगाया है। कोर्ट ने सुनवाई के बाद तीनों आरोपितों को दोषी करार दिया था। सहायक जिला शासकीय अधिवक्ता राजेंद्र कसाना ने बताया कि अमरोहा हसनपुर में रहने वाली अंजली की शादी 17 जून 2012 को साहिबाबाद निवासी जगपाल के साथ हुई थी। शादी में मिले दहेज से जगपाल का परिवार खुश नहीं था। वह उस पर दहेज में 4 लाख रुपये लाने के लिए दबाव डाल रहे थे। मांग पूरी नहीं होने पर 20 अक्टूबर 2013 को जगपाल की मां यशोदा, पिता अशोक कश्यप और मामा मदन पाल ने मिट्टी का तेल डालकर अंजली की जलाकर हत्या कर दी। उपचार के दौरान अंजली ने मैजिस्ट्रेट के समक्ष अपना बयान दर्ज कराया था व इसके बाद उसकी मौत हो गई। घटना की सूचना मिलने पर अंजली के पिता ने मामले की रिपोर्ट दर्ज कराते हुए सास यशोदा, ससुर अशोक कश्यप और ममिया ससुर मदन पाल को नामजद कराया था। कोर्ट ने पेश सबूत और गवाहों के बयान के आधार पर तीनों आरोपितों को दोषी करार दिया था। सुनवाई करते हुए कोर्ट ने तीनों अभियुक्तों को 10-10 साल की कैद ओर 14-14 हजार रुपये के जुर्माने की सजा सुनाई है।