11 बजकर 15 मिनट पर ही मिड डे मील दे स्कूली बच्चों को भेज दिया गया था,घर
मौहम्मद इल्यास-दनकौरी/कानून रिव्यू
बुलंदशहर
उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में गोकशी के शक में हुई हिंसा के दौरान इंस्पेक्टर सुबोध कुमार सिंह की मौत के मामले में नया खुलासा हुआ है। हिंसा के दिन घटनास्थल से 100 मीटर दूर स्थित स्कूल में बच्चों को समय से पहले ही मिड.डे मील दे दिया गया था। स्कूल के टीचर और मिड.डे.मील इंचार्ज का कहना है कि उस दिन बच्चों को जल्द खाना खिलाकर घर भेजने के आदेश मिले थे। चिंगरावठी गांव में स्थित प्राथमिक और जूनियर माध्यमिक विद्यालय में 3 दिसंबर को 150 से ज्यादा छात्रों को समय से पहले दोपहर 11 बजकर 15 मिनट पर मिड डे मील दे दिया गया था। जब कि नियमानुसार बच्चों को रोज़ाना दोपहर 12.30 बजे खाना परोसा जाता है। इसी गांव में 3 दिसंबर के दिन 400 लोगों की भीड़ का पुलिस के साथ टकराव हुआ। इस नए खुलासे के बाद अब सवाल उठ रहे हैं कि क्या हिंसा सुनियोजित थी? स्कूल के रसोइए और मिड.डे.मील परोसने वाले राजपाल सिंह का कहना है कि उस दिन हमें बच्चों को वक्त से पहले खाना खिलाने और इसके तुरंत बाद उनकी छुट्टी करने के निर्देश मिले थे। हमने ऐसा ही किया। इस स्कूल में प्राइमरी क्लास के 107 और जूनियर सेकेंडरी के 66 बच्चे हैं स्कूल सुबह 9 बजे शुरू होकर दोपहर 3 तीन बजे तक चलता है। इस तरह के आदेश किसने और फिर क्यों दिए? सिंह ने कहा कि भीड़ असामान्य रूप से चिल्ला रही थी। यह अप्रत्याशित दिखाई दिया। बेसिक शिक्षा अधिकारी से सुबह 11 बजे एक संदेश पहुंचा था। जिसमें कहा गया था स्थिति इज्तिमा के कारण अच्छी नहीं दिखती है और बच्चों को भोजन दें और उन्हें जल्द छोड़ दिया जाए। बुलंदशहर में 3 दिवसीय इज्तिमा यानी धर्मसभा में बड़ी संख्या में लोग जुटे थे। इसका आयोजन हिंसा स्थल से करीब 40 किमी की दूरी पर किया गया था। लेकिन इसके कारण स्कूल के पास मुख्य सड़क पर काफी जाम भी लगा हुआ था। राजपाल सिंह ने कहा कि बाहर मेरठ से आए टीचर्स को भी उस दिन जल्द जाने के लिए कहा गया था। ताकि ऐसा न हो कि वे ट्रैफिक जाम में फंस जाएं। उन्होंने कहा कि सोमवार को स्कूल से हर कोई जल्दी चला गया था और बाद में जिला प्रशासन ने मंगलवार को सभी स्कूलों को बंद करने के आदेश दिए। जब बुधवार को स्कूल दोबारा खुले तो वहां कोई छात्र नहीं था। प्राइमरी बच्चों को पढ़ाने वाली टीचर रानी ने कहा कि निश्चित रूप से सोमवार से गांव में जारी तनाव के कारण ऐसा था। उन्होंने उम्मीद जताई कि स्थिति में सुधार होगा और बच्चे स्कूल लौट आएंगे। बुलंदशहर हिंसा में अब तक 26 लोगों के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है और जिसमें से 8 आरोपी बजरंग दल, वीएचपी और बीजेपी के यूथ विंग के सदस्य हैं। पुलिस की शुरुआती जांच और वहां मौजूद लोगों की बातों से ऐसा लगता है कि इंस्पेक्टर की हत्या सुनियोजित तरीके से की गई और हत्या का मकसद इलाके में सांप्रदायिक तनाव फैलाना था।